6 अक्टूबर 2013

हमारे  देश में  सड़क दस किनारे शौचालय करने की  जो आदत है आप  सोच सकते है की देवालय  जाते समय सौचालय के रस्ते जाना पड़े तो कैसा लगेगा विकाश के रस्ते में धरम बाधा नही मोदी जी ने ठीक कहा है सौचालय बनवाओ हर घर गाव शहर देवालय  के तरह लगेगा ...

31 जनवरी 2012

हमारे प्रथम प्रधानमंत्री

बहुत से लोगों का विचार है कि नेहरू ने अन्य नेताओं की तुलना में भारत के स्वतन्त्रता संग्राम में बहुत कम योगदान दिया था। फिर भी गांधीजी ने उन्हे भारत का प्रथम प्रधानमंत्री बना दिया। स्वतंत्रता के बाद कई दशकों तक भारतीय लोकतंत्र में सत्ता के सूत्रधारों ने प्रकारांतर से देश में राजतंत्र चलाया, विचारधारा के स्थान पर व्यक्ति पूजा को प्रतिष्ठित किया और तथाकथित लोकप्रियता के प्रभामंडल से आवेष्टित रह लोकहित की पूर्णत: उपेक्षा की। अपनी अहम्मन्यता को बाह्य शिष्टता के आवरण में छिपाकर हितकर परामर्श देने...

25 दिसंबर 2011

लहसुन

लहसुन से आप सभी परिचित हैं,समानय रूप से भोजन में हम सभी इसका प्रयोग करते हैं इसका एक प्रयोग बडा ही गुडकारी हैं-2-5 कली लहसुन दिन में एक बार कभी भी देशी घी में तलकर कलियॉ चबाकर खा ले तथा घी उपर से पी ले-इससे सभी वात कष्‍ट,आमवात , सन्धिवात,जोडो के कष्‍ट,सुस्‍ती,गैस का कष्‍ट,यौनांग की दुर्वलता,शिथिलता,कमजोरी आदि व्‍याधियॉ दुर होगी...

योग एक परिचय

''योग'' शब्‍द संस्‍कत के ''युज'' धतु से बना हैं, जिसका अर्थ है-बॉधना,जोडना, मिलाना, युक्‍तकरना  ध्‍यान को नियंत्रित करना केन्द्रित करना,उपयोग में लाना या लगाना । ''योग'' का अर्थ संयोग या मिलन भी माना जाता हैं । अपनी इच्‍छा को भगवान की इच्‍छा में संयुक्‍त कर देना ही सच्‍चा योग हैं । अर्थात मन वाणी कर्म से र्इश्‍वर में विलीन होना ही योग हैं, जिसमें आपकी समस्‍त क्रियाये अनुशासित होती हैं, व ईश्‍वरीय निर्देशानुसार संचालित हो रही है जीवन में ऐसी सम्‍यावस्‍था को प्रस्‍थापित करने की क्रिया को योग...

20 दिसंबर 2011

एकोनाइट

सर्दीयो के इस मौसम की यह एक महत्‍वपूर्एा उपयोगी दवा हैं,किसी को भी सर्दी लगे तो हमारा ध्‍यान सर्वप्रथम इसी दवा की तरफ जाता हैं 30वी शक्ति की दवा 1/2 घन्‍टे पर दे सकते हैं, डाक्‍टर की सलाह अपेक्...

दलीय लोकतंत्र-2

किसी भी लोकतांत्रिक व्‍यवस्‍था में राजनीतिक दलो का विशेष्‍ महत्‍व होता हैं राजनीतिक दललोकतांत्रिक व्‍यवस्‍था मे रीढ की हड़डी की तरह होते है, यह जितने ही लोकतांत्रिक होगे देश का लोकतंत्र उतना ही मतबूत एवं दीर्घजीवी होगा । अपने देश भारत में अभी भी राजनैतिक दलो का लोकतं9 अपने प्रारंभिक अवस्‍था में है, इसके पीछे मुख्‍य श्रेय काग्रेस पार्टी को जाता हैं,जिसने स्‍वतंत्रता प्राप्ति के वाद से ही अपने दल से लोकतंत्र को निकाल के फेक दिया, इसके विकास में सबसे अधिक श्रेय यदि किसी पक्ष में जाता है वह भाजपा के...

13 दिसंबर 2011

दलीय लोकतंत्र 1

आज का लोक तंत्र अब्राहम लिकन की उस युक्ति पर आधारित है जिसमें आपने लोकतंत्र की परिभाष करते हुये कहा था कि लोकतंत्र जनता से जनता द्वारा और जनता के लिए संचालित किया जाता हैं ।लेकिन प्रक्रियागत रूप से इस परिभाषा को लागू करने के रास्‍ते भिन्‍न -भिन्‍न हैं अब के देशइतनेछोटे नही रहे कि आम जनता द्वारा संचालित प्रत्‍यक्ष लोकतंत्र का पालन किया जा सके वरन इसके स्‍थान पर प्रतिनिधात्‍मक लोकतंत्र का आश्रय लिया गया हैं। भारत एक नवीन लोकतांत्रिक देश हैं,जहॉ पूर्व से अन्‍य देशो में प्रचलित लोकतांत्रिक प्रणालियो...

मंजिल

ये शाम यू ही ढलेगी ये रात यू ही चलेगी दिन का उजियाला आयेगा जीवन का फसाना गायेगाये पहिया यूही घूमेगा वक्‍त यू ही झूमेगा तुम चल सकते हो तो चल जाओ तुम ढल सकते हो तो ढल जाओ  इतिहास यही दुहरायेगा अंजाम वही बतलायेगाहै यही फसाना दुनिया का अंजाम पुराना दुनिया का जो वक्‍त के आगे रहता है अंजाम वही बस सहता हैइतिहास वही दुहराता है मंजिल पर पहुच जो पाता है ...

12 दिसंबर 2011

वेदना

वो दिल भी क्‍या जो तुमसे मिलने की दुआ न करे मै तुमको छोउ के जिन्‍दा रहू खुदा न करे । रहेगा साथ तेरा प्‍यार जिनदगी बनकर ये बात और मेंरी जिन्‍दगी वफा न करे फलक पे आये सितारे तेरी सुरत बन के  ये रात बीत न जाये कोर्इ दुआ न करे  जमाना देख चुका है परख तुका है हमे यतीम जान के काबे में इल्‍तजा न करे हॅु खुसनसीब जो पाई है जुदाई तेरी हमारी याद कभी तुमको बमजदा न करे ...

यादे

आप आये मेंरी यादो में खुदा खैर करे नीद आती नही रातो में खुदा खैर करे दिल के जजबात ने अंगडाई ली ऑसू बनकर एक तुफान उठा आज खुदा खैर करे बेवसी मन में उठी ऐसी दबाये न दबे दिल ने फिर कर दिया फरियाद खुदा खैर करे याद आये अब तेरी शीर्फ हकीकत बन कर ख्‍वाबो ने कर दिया इनकार खुदा खैर करे ...

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